सुनील कुमार साथियों कई दिनों से मेरे मन में एक प्रश्न उठ रहा था जो आज आप सभी के समक्ष रख रहा हूं और आप सभी के विचार जानना चाहता हूं।जैसा कि आप सभी देखते हैं कि इन दिनों फेसबुक पर साहित्यिक मंचों का अम्बार सा लगा हुआ है। मातृभाषा …
Read More »दिल्ली का पानी-चंद्रवीर
मां ने चिल्लाते हुए कहा – “मेरे घर में इन गंदे और कीचड़ में सने पिल्लों के लिए कोई जगह नहीं है। तुझे इनका इलाज़ ही करना है तो घर से बाहर कर, समझा।”आज मां कुछ ज्यादा ही गुस्से में थी। वह प्रतिदिन पूजा पाठ करने वाली धार्मिक महिला हैं। …
Read More »हीर की कहानी बावरी
स्कूल की घन्टी बजते ही 10 साल की लक्ष्मी ने अपना बस्ता उठाया और अपनी सहेली मीरा से यह कह कर भाग निकली मेरे पापा कल आठ महीनों बाद घर आ रहे हैं। और मुझे उन्हें बावरी के बारे में बताना है ताकि वो मेरी मदद कर सकें।लक्ष्मी के पापा …
Read More »गंगा से मेरा पहला परिचय-हेमंत चौकियाल
तब मैं चौथी कक्षा का विद्यार्थी था। पन्द्रह अगस्त नजदीक आ रहा था। तब स्कूलों में राष्ट्रीय पर्वों को बड़े उत्साह के साथ मनाने के लिए कुछ दिनों पूर्व से जोरदार तैयारियां की जाती थी। गुरूजी ने 15 अगस्त को प्रभात फेरी में ड्रेस और जूते पहन कर आने को …
Read More »माँ गंगा की गोद में-विजय शंकर
संस्मरण जब-जब गंगा-दशहरा या माघ मेला आता है तब-तब मुझे माँ गंगा की गोद में विहार करने का बचपन का दृश्य दृग समक्ष साकार हो जाता है।मैं बचपन की उन सम्मोहक स्मृतियों में खो जाता हूँ।बात सन् उन्नीस सौ पैंसठ की है।मेरी माताजी मेरे चचेरे भाइयों की मुंडन कराने के …
Read More »सीमा रानी का गंगा पर संस्मरण
बात करीब सात साल पहले की है। गंगा दशहरा का दिन था और हरिद्वार में अद्भुत श्रद्धा और उत्साह का माहौल था। लोग दूर-दूर से पवित्र गंगा में स्नान करने और अपने पापों का प्रायश्चित करने आए थे। मैं भी अपने परिवार के साथ इस पवित्र पर्व पर हरिद्वार पहुंची …
Read More »गंगा के प्रति राज्य एवं समाज का कर्तव्य-किरण बाला
देश का गौरव, आस्था से परिपूर्ण, भारतीय संस्कृति का ओज तथा मोक्षदायिनी देवनदी की महिमा का वर्णन अकथनीय है। सूर्यवंशी राजा भागीरथी के घोर तप अथक परिश्रम द्वारा विष्णुपदी का धरा पर आगमन सर्वविदित है। किंतु आज के संदर्भ में देखा जाए तो मालिनता को स्वच्छ करने वाली आज स्वयं …
Read More »हजरीबाग परिभ्रमण-सत्येन्द्र कुमार पाठक
सत्येन्द्र कुमार पाठकप्राचीन काल में हजारीबाग जिले को दुर्गम वनों से आच्छादित क्षेत्र में कोल जनजातियों का राजा हजारी का 2816 उचाई से युक्त पर्वत चंदवारा और 3057 फिट उचाई युक्त पर्वत जिल्लिंज तथा दामोदर नदी भराकर नदी का क्षेत्र शाक्त सम्प्रदाय , सौर सम्प्रदाय , शैव सम्प्रदाय एवं वैष्णव …
Read More »चित्र पर कहानी में नवनीता पांडेय
आज मां ने गर्मी की छुट्टियों में घर आए सभी बेटी ननद बुआ चाचा के बच्चों को कहा चलो आज सब मिलकर गेहूं का बोरा साफ करो।कुछ ने मुंह बनाया कुछ ने आलस डाला और दो बच्चो ने कहा हम करेंगे।मिली और सोम ने काम शुरू किया बीच बीच में …
Read More »चित्र पर कहानी में सीमारानी की कहानी
गंगा नदी के किनारे एक गांव था जिसका नाम था ‘गंगापुर’। यह गांव अपनी प्राकृतिक सुंदरता और गंगा के पवित्र जल के लिए प्रसिद्ध था। गांव के लोग गंगा को माँ मानते थे और उसकी पूजा करते थे। परन्तु समय के साथ, गंगा का जल प्रदूषित होने लगा और उसके …
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